पाई लागू जी महाराज जी महाराज बिड़द बंका
था पर वारी जी महाराज बिड़द बका
बिड़द बंका ओ तोड़ी गढ़ लंका)-2
था पर वारी जी महाराज सोने की लंका
कुण थारी माता कुण पिता है
कुण थारो नाम धर्यो रे हनुमंता-हरि हरि
कुण थारो नाम धर्यो रे हनुमंता
पाई लागू........
अंजनी म्हारी माता पवन पिता है
ब्रह्मा म्हारो नाम धर्यो जी हनुमंता
हरि हरि ब्रह्मा म्हारो नाम धर्यो रे हनुमंता
पाई लागू जी महाराज ........
उण्या जी के सत स सागर उत्तरयो
कुण को हुकुम जड़ तोड़ी लंका हरि हरि
कुण को हुकुम जद तोड़ी लंका
पाई लागू जी महाराज......
सिया जी के सत से सागर उत्तरयो
राम हुकुम तोड़ी गढ़ लंका हरि हरि
राम हुकुम तोड़ी गढ़ लंका
पाई लागू जी महाराज...
रावण मार अहिरावण मारयो
कुम्भकरण पर बाज डंका हरि हरि
कुम्भकरण पर बाज डंका
पाई लागू जी महाराज
तुलसीदास आस रघुवर की
असुरां मार मिटाई संका
हरि हरि
असुरां मार मिटाई संका
पाई लागू जी महाराज
Bahut ही अच्छा भजन ।
जवाब देंहटाएंhttps://youtu.be/lc0tRbdHf8w
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